सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे एक पोस्ट में दावा किया जा रहा है कि चीन के जिस डॉक्टर ने पहली बार कोरोना वायरस की पहचान की थी, उसने कुछ मामलों का अध्ययन किया और इस बीमारी का इलाज सुझाया है. इस पोस्ट की सच्चाई जानने के लिए पढ़िए पूरी खबर.

दुनिया भर के वैज्ञानिक, डॉक्टर और विशेषज्ञ चौबीसों घंटे कोरोना वायरस की दवा खोजने के लिए अथक मेहनत कर रहे हैं. दूसरी ओर सोशल मीडिया यूजर्स ने इस महामारी के बचने के अजीबोगरीब उपायों और उपचारों की झड़ी लगा दी है.
सोशल मीडिया पर एक पोस्ट वायरल हो रही है जिसमें दावा किया जा रहा है कि चीन के जिस डॉक्टर ने पहली बार कोरोना वायरस की पहचान की थी, उसने कुछ मामलों का अध्ययन किया और इस बीमारी का इलाज सुझाया है. यह पोस्ट दावा करती है कि इस चीनी डॉक्टर ने सुझाव दिया था कि कोविड-19 यानी कोरोना वायरस के इलाज के लिए जिन रासायनिक यौगिकों की जरूरत है, वह चाय में पाया जाता है. इस पोस्ट में यह भी दावा किया गया है कि यह खबर पहली बार सीएनएन ने प्रकाशित की है.
कई फेसबुक यूजर्स जैसे David Chew ने यह पोस्ट शेयर की है.
यह पोस्ट अपेक्षाकृत लंबी है और अंग्रेजी में लिखी गई है, जो कहती है, "CNN की ब्रेकिंग न्यूज:- चीन के हीरो डॉ ली वेनलियांग, जिन्हें कोरोना वायरस के बारे में सच्चाई बताने के लिए दंडित किया गया था और बाद में उसी बीमारी के कारण उनकी मृत्यु हो गई थी, ने शोध के लिए कुछ केस का दस्तावेजीकरण किया था.
उन्होंने अपनी केस फाइल्स में एक ऐसे उपचार का प्रस्ताव रखा, जो मानव शरीर पर COVID-19 वायरस के प्रभाव को काफी कम कर देगा. और अधिक चौंकाने वाली बात यह है कि ये जटिल शब्द जो चीन में लोगों के लिए समझना बहुत मुश्किल था, वास्तव में भारत में उसे चाय कहा जाता है. हां, हमारी रोज वाली चाय में ये सारे केमिकल पाए जाते हैं."